मुंबई: मुंबई के भाईंदर रेलवे स्टेशन से एक हृदय विदारक वीडियो सामने आया है, जिसमें एक पिता और पुत्र ने एक साथ आत्महत्या कर ली। यह घटना सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई और सोशल मीडिया पर वायरल हो गई है। इस घटना ने पूरे शहर को झकझोर कर रख दिया है।
घटना का विवरण
यह दर्दनाक घटना सोमवार की सुबह 9 बजे हुई जब वसई ईस्ट में स्थित भाईंदर रेलवे स्टेशन के प्लेटफॉर्म नंबर 6 पर पिता और पुत्र ने ट्रेन के नीचे आकर अपनी जान दे दी। पिता की उम्र लगभग 60 वर्ष थी और बेटे की उम्र लगभग 30 वर्ष थी। सीसीटीवी फुटेज में देखा जा सकता है कि दोनों स्टेशन पर बात करते हुए घूम रहे थे। अचानक वे पटरी पर चले गए और ट्रेन के आने का इंतजार करने लगे। जैसे ही ट्रेन नजदीक आई, वे दोनों पटरी पर लेट गए। ट्रेन ने उन्हें कुचल दिया और मौके पर ही उनकी मौत हो गई।
सुसाइड नोट का खुलासा
वसई के GRP ने घटना की एक्सीडेंट डेथ रिपोर्ट दर्ज कर ली है और मामले की छानबीन कर रही है। पुलिस ने बताया कि पिता की जेब में एक सुसाइड नोट मिला है। नोट में लिखा है कि वे अपनी मर्जी से यह कदम उठा रहे हैं और उनकी मौत के लिए किसी को दोषी नहीं ठहराया जाए। पुलिस ने शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है और आत्महत्या के पीछे के कारणों का पता लगाने का प्रयास कर रही है।
आत्महत्या के पीछे का कारण
शुरुआती जांच में पता चला है कि 60 वर्षीय बुजुर्ग ने कोरोना महामारी के दौरान अपनी पत्नी को खो दिया था। पत्नी की मौत ने उसे गहरे सदमे में डाल दिया था। उसके बेटे ने छह महीने पहले अपनी गर्लफ्रेंड से शादी की थी, लेकिन पारिवारिक समस्याओं और मानसिक तनाव के कारण वे दोनों इस दुखद निर्णय पर पहुंचे। इस घटना ने उनके परिवार और समाज में एक गहरा आघात पहुंचाया है।
ड्राइवर की असफल कोशिश
इस हादसे के दौरान ट्रेन ड्राइवर ने ट्रेन को रोकने की बहुत कोशिश की, लेकिन तेज रफ्तार के कारण वह उन्हें बचाने में असमर्थ रहा। ट्रेन की रफ्तार इतनी तेज थी कि वह दोनों को कुचलते हुए आगे बढ़ गई। इस घटना ने स्टेशन पर मौजूद सभी लोगों को हिला कर रख दिया और उनकी आंखों में आंसू ला दिए।
समाज पर प्रभाव
इस घटना ने समाज को एक बार फिर आत्महत्या के गंभीर मुद्दे की ओर ध्यान दिलाया है। मानसिक स्वास्थ्य और पारिवारिक समस्याओं के कारण आत्महत्या की घटनाएं बढ़ती जा रही हैं। यह घटना यह बताती है कि कैसे मानसिक तनाव और पारिवारिक समस्याएं किसी व्यक्ति को इस कदर मजबूर कर सकती हैं कि वे आत्महत्या जैसा कठोर कदम उठा लें।
समाधान की आवश्यकता
यह समय है कि समाज में मानसिक स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता बढ़ाई जाए और लोगों को मानसिक समस्याओं से निपटने के लिए सहायता प्रदान की जाए। परिवारों को मानसिक स्वास्थ्य पर ध्यान देने की आवश्यकता है और सरकार को भी इस दिशा में कदम उठाने चाहिए। मानसिक स्वास्थ्य सेवाओं की उपलब्धता और लोगों को इसके प्रति संवेदनशील बनाने की आवश्यकता है।
मुंबई में हुई इस घटना ने एक बार फिर से यह साबित कर दिया है कि मानसिक स्वास्थ्य के मुद्दों को गंभीरता से लिया जाना चाहिए। पिता और पुत्र की आत्महत्या ने समाज को झकझोर कर रख दिया है और यह दिखाया है कि मानसिक स्वास्थ्य और पारिवारिक समस्याओं का समाधान कितना महत्वपूर्ण है। उम्मीद है कि इस घटना के बाद समाज और सरकार इस दिशा में और अधिक संवेदनशील होकर कदम उठाएंगे और मानसिक स्वास्थ्य सेवाओं की उपलब्धता को बढ़ावा देंगे।