पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता स्थित आरजी कर मेडिकल कॉलेज में एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है, जिसने पूरे राज्य में सनसनी मचा दी है। इस घटना ने एक बार फिर से महिलाओं की सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। कोलकाता के इस प्रतिष्ठित मेडिकल कॉलेज में एक महिला जूनियर डॉक्टर का शव संदिग्ध परिस्थितियों में पाया गया है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट और घटनास्थल से मिले सबूतों ने इस घटना को आत्महत्या के बजाय एक जघन्य हत्या का मामला बना दिया है।
घटना का विवरण: कैसे सामने आई यह दिल दहला देने वाली घटना?
यह घटना शुक्रवार की सुबह उस समय सामने आई, जब आरजी कर मेडिकल कॉलेज में पीजी 2nd ईयर की एक छात्रा का शव कॉलेज के सेमिनार हॉल में पाया गया। शव को देखकर तुरंत ही इस बात का अंदेशा हो गया कि यह कोई सामान्य मौत नहीं है। मृतका के शरीर पर चोट के कई निशान थे, उसकी दोनों आंखों और मुंह से खून बह रहा था। सबसे चौंकाने वाली बात यह थी कि पीड़िता के प्राइवेट पार्ट से भी खून बह रहा था, जो कि यौन उत्पीड़न की ओर इशारा कर रहा था।
पोस्टमार्टम रिपोर्ट में खुलासा: मौत से पहले हुआ यौन उत्पीड़न
पोस्टमार्टम रिपोर्ट में इस बात की पुष्टि हुई है कि पीड़िता के साथ पहले यौन उत्पीड़न हुआ और उसके बाद उसकी हत्या की गई। रिपोर्ट में कहा गया है कि पीड़िता के शरीर पर कई जगह चोट के निशान थे, उसकी गर्दन की हड्डी टूटी हुई थी, जिससे साफ होता है कि उसकी हत्या गला घोंट कर की गई। यह घटना तड़के तीन से छह बजे के बीच की बताई जा रही है, जब कॉलेज में शांति होती है और बहुत कम लोग सक्रिय रहते हैं।
पिता का आरोप: बलात्कार के बाद की गई हत्या
मृतका के पिता ने अपनी बेटी की हत्या को लेकर गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है कि उनकी बेटी के साथ बलात्कार के बाद उसकी हत्या की गई है, और अब अस्पताल प्रशासन इस मामले को दबाने की कोशिश कर रहा है। उन्होंने इस बात पर भी सवाल उठाए हैं कि उनकी बेटी अर्ध-निर्वस्त्र अवस्था में मिली, जो कि इस घटना की गंभीरता को और बढ़ा देता है।
पुलिस की जांच: क्या है वर्तमान स्थिति?
कोलकाता पुलिस इस मामले की गंभीरता से जांच कर रही है। पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि शव के गाल, नाक, होठ, भौंहों के बीच और गर्दन पर खरोंच के निशान थे, जो संघर्ष की ओर इशारा करते हैं। पुलिस ने बताया कि घटना के समय पीड़िता के साथ ड्यूटी पर मौजूद पांच लोगों से पूछताछ की जा रही है। पुलिस ने यह भी स्पष्ट किया कि यह आत्महत्या का मामला नहीं है और हत्या के सभी संभावित पहलुओं की जांच की जा रही है।
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का बयान: परिवार को न्याय का आश्वासन
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने इस घटना के बाद मृतका के परिवार से बात की और उन्हें दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई का आश्वासन दिया। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार इस मामले की निष्पक्ष जांच करेगी और सच्चाई को सामने लाएगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि महिलाओं की सुरक्षा के प्रति राज्य सरकार की प्रतिबद्धता किसी भी प्रकार की कोताही नहीं बरतेगी और इस घटना के दोषियों को सजा दिलाई जाएगी।
साथी डॉक्टरों का विरोध: दोषियों की गिरफ्तारी की मांग
इस घटना के बाद आरजी कर मेडिकल कॉलेज के पीजीटी चिकित्सकों ने दोषियों की तत्काल गिरफ्तारी की मांग की है। उन्होंने आपातकालीन वार्ड को छोड़कर सभी विभागों में काम बंद कर दिया है। डॉक्टरों और मेडिकल छात्रों ने इस घटना के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया और मामले की त्वरित जांच की मांग की।
विपक्षी नेताओं का दौरा: मामले को दबाने के आरोप
इस घटना के बाद, विपक्षी नेताओं ने भी अस्पताल का दौरा किया और मामले की स्वतंत्र जांच की मांग की। भाजपा के विधायक अग्निमित्र पॉल सहित अन्य विपक्षी नेताओं ने कहा कि इस घटना को दबाने की कोशिश की जा रही है, और इसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
न्याय की प्रतीक्षा में परिवार
कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज में हुई इस दर्दनाक घटना ने न केवल पूरे राज्य बल्कि देशभर में आक्रोश फैला दिया है। मृतका के परिवार को न्याय की प्रतीक्षा है, और पूरे राज्य की निगाहें इस मामले की जांच पर टिकी हैं। यह घटना एक बार फिर से समाज में महिलाओं की सुरक्षा के मुद्दे को उजागर करती है और इस बात की आवश्यकता पर बल देती है कि महिलाओं की सुरक्षा के प्रति सरकार और समाज को और अधिक गंभीरता से कदम उठाने की जरूरत है।
इस घटना ने देश के हर नागरिक को यह सोचने पर मजबूर कर दिया है कि जब एक डॉक्टर के साथ ऐसा हो सकता है, तो आम महिलाओं की सुरक्षा का क्या हाल होगा? अब देखना यह है कि इस घटना के दोषियों को कब और कैसे सजा मिलती है, और क्या मृतका के परिवार को न्याय मिल पाता है या नहीं।