पूर्व सांसद विजय यादव के निधन की खबर से सारा नालंदा जिला शोकमग्न है। उनके निधन हो जाने के बाद, लोग उनकी यादें और उनके योगदान को याद कर रहे हैं। विजय यादव ने अपने जीवन के दौरान भारतीय काम्युनिस्ट पार्टी के सदस्य के रूप में बहुत सारे महत्वपूर्ण पदों पर कार्य किया और नालंदा जिले को उनके नेतृत्व में दोपहर किया।
विजय यादव का जन्म बहुत साल पहले हुआ था और वे करीब 90 वर्ष के थे। उन्होंने नालंदा जिला से तीन बार सांसद और दो बार विधायक के रूप में जनता के आवास में जाकर सेवाएँ प्रदान की।
विजय यादव का पहला चुनाव 1980 में हुआ, जब वे नालंदा लोकसभा से सदस्य बने। इसके बाद, 1984 में भी उन्होंने लोकसभा का चुनाव जीता और फिर 1991 में एक बार फिर से भारतीय काम्युनिस्ट पार्टी के प्रतिनिधित्व में चुने गए। उन्होंने राजनीति के दौरान अपने आवास से लोगों के समर्थन और सलाहकारी बने, जिससे वे जनसेवा में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सके।
विजय यादव ने पेशे से वकील के रूप में भी सेवाएँ प्रदान की और अपने क्षेत्र के लोगों के अधिकारों की रक्षा की। उन्होंने अपनी जीवनी में कई महत्वपूर्ण कार्यों का संघटन किया और अपने विचारों को नालंदा और देश के लोगों के साथ साझा किया।
विजय यादव के निधन के बाद, विभिन्न राजनीतिक दलों के नेता उनके आवास पर पहुंच कर उन्हें श्रद्धा सुमन अर्पित कर रहे हैं, जो एक महत्वपूर्ण राजनीतिक व्यक्ति के निधन से पैदा होने वाले वैकल्पिक खाने का प्रतीक है। उनका नाम नालंदा और भारतीय राजनीति के इतिहास में हमेशा याद किया जाएगा।