दिल्ली में शुक्रवार सुबह भारी बारिश के कारण कई इलाकों में जलभराव की स्थिति उत्पन्न हो गई। राजधानी के प्रमुख क्षेत्रों में सड़कें तालाब में बदल गईं और बाढ़ जैसी स्थिति पैदा हो गई। इस स्थिति को देखते हुए दिल्ली के जलमंत्री आतिशी ने प्रेस कांफ्रेंस कर स्थिति का विश्लेषण किया और उपायों की जानकारी दी।
जलभराव की समस्या
भारी बारिश के बाद दिल्ली के कई क्षेत्रों में जलभराव हो गया, जिससे यातायात प्रभावित हुआ और आम जनता को असुविधा का सामना करना पड़ा। मिंटो रोड से लेकर दिल्ली एम्स तक की सड़कें तालाब में बदल गईं। इसके चलते लोग और वाहन चालकों को काफी कठिनाईयों का सामना करना पड़ा। भाजपा पार्षद ने इसका विरोध जताते हुए नाव चलाने की तस्वीरें साझा की, जो सोशल मीडिया पर वायरल हो गईं।
आतिशी का बयान
दिल्ली के जलमंत्री आतिशी ने प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि राज्य में लगभग 200 हॉटस्पॉट की पहचान की गई है, जहां जलभराव की समस्या सबसे अधिक होती है। उन्होंने बताया, “हमने पिछले बारिश के दौरान 200 हॉटस्पॉट की पहचान की है। इनमें से 40 हॉटस्पॉट PWD की सीसीटीवी निगरानी में हैं।” आतिशी ने स्पष्ट किया कि यदि 24 घंटे में 228 मिमी बारिश होती है, तो जल स्तर कम होने में समय लगेगा। उन्होंने कहा कि यदि नालियों से पानी ओवरफ्लो हो रहा है, तो इसका मतलब है कि बारिश काफी ज्यादा हुई है, इसलिए जगह-जगह जलभराव हो रहा है।
मंत्रियों की बैठक
आतिशी ने बताया कि भारी बारिश के कारण जलभराव की समस्या को लेकर एक महत्वपूर्ण बैठक की गई, जिसमें दिल्ली सरकार के चार मंत्रियों ने हिस्सा लिया। इस बैठक में दिल्ली सरकार के सभी वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल हुए। बैठक में आने वाले दिनों के लिए कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए हैं, जो जल्द ही लागू किए जाएंगे।
प्रभावित क्षेत्र
भारी बारिश के बाद दिल्ली के विभिन्न क्षेत्रों में जलभराव हो गया। बीती रात से हुई बारिश के बाद तीन मूर्ति मार्ग, मूलचंद, मिंटो रोड, आनंद विहार, महरौली बदरपुर रोड, मंडावली, भीकाजी कामा प्लेस, मधु विहार, प्रगति मैदान, मुनिरका, धौला कुआं, मोती बाग और आईटीओ समेत कई इलाकों में पानी भर गया। इन क्षेत्रों से गुजरने वाले लोग और वाहन चालकों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा।
जलभराव के कारण
दिल्ली में जलभराव का मुख्य कारण अत्यधिक बारिश और पुरानी नालियों की अपर्याप्त क्षमता है। दिल्ली में जल निकासी प्रणाली की संरचना और उसकी नियमित सफाई की कमी भी एक प्रमुख कारण है। अतिवृष्टि के समय नालियों का पानी ओवरफ्लो हो जाता है और सड़कों पर जलभराव की स्थिति उत्पन्न हो जाती है।
समाधान के उपाय
आतिशी ने कहा कि दिल्ली सरकार जलभराव की समस्या के समाधान के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठा रही है। नालियों की नियमित सफाई, जल निकासी प्रणाली में सुधार, सीसीटीवी निगरानी और हॉटस्पॉट की पहचान जैसे उपायों पर जोर दिया जा रहा है। इसके अलावा, आने वाले समय में जलभराव की समस्या से निपटने के लिए सरकार की ओर से और भी उपाय किए जाएंगे।
भविष्य की योजना
दिल्ली सरकार ने जलभराव की समस्या के समाधान के लिए कई दीर्घकालिक योजनाओं पर काम करने का निर्णय लिया है। इसमें आधुनिक जल निकासी प्रणाली का विकास, नालियों की क्षमता में वृद्धि और जलभराव प्रभावित क्षेत्रों की नियमित निगरानी शामिल है। सरकार का उद्देश्य है कि भविष्य में इस तरह की स्थिति से बचा जा सके और जनता को असुविधा का सामना न करना पड़े।
दिल्ली में भारी बारिश के बाद उत्पन्न जलभराव की समस्या एक गंभीर मुद्दा है, जिसे सरकार ने गंभीरता से लिया है। जलमंत्री आतिशी के बयान और सरकार के उठाए गए कदमों से यह स्पष्ट होता है कि समस्या के समाधान के लिए ठोस प्रयास किए जा रहे हैं। हालांकि, इसे पूरी तरह से हल करने के लिए एक लंबी और निरंतर प्रक्रिया की आवश्यकता होगी। जलभराव की समस्या को जड़ से समाप्त करने के लिए सरकार और जनता दोनों को मिलकर प्रयास करना होगा।