‘मार्क जुकरबर्ग के रूप में ‘मेटा’ के सीईओ का सीनेट के सामने शर्मसार होना एक नई घटना है जो सोशल मीडिया कंपनीयों के सुरक्षा और बच्चों की सुरक्षा के संदर्भ में उठी है। एक ऐसे मामले में, जुकरबर्ग को सीनेट के सदस्यों ने सवालों की तीव्र बौछार के सामने रखा, जिसके परिणामस्वरूप उन्हें शर्मसार होते हुए अचानक माफी मांगनी पड़ी।
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इस घटना की शुरुआत इंस्टाग्राम पर 13 से 15 साल की आयु के बच्चों के साथ आपत्तिजनक कंटेंट से हुई शिकायत से हुई थी। सीनेट के वकील जॉश हॉले ने मार्क जुकरबर्ग से इस मामले के बारे में सीधे और सवालों से भरी तरीके से पूछे। जुकरबर्ग की तबियत सीधे सवालों के सामने बेहद शर्मसार हो गई और उन्होंने सही तरीके से जवाब नहीं दिया।
जॉश हॉले ने उनसे कहा, “क्या आपको नहीं लगता कि आपको इस मामले में किसी पीड़ित के परिवार को मुआवजा देना चाहिए?” जवाब में, जुकरबर्ग ने कहा, “मैं इसका जवाब नहीं देने जा रहा हूं। मुझे नहीं लगता कि इसके बारे में बात करना ठीक होगा।”
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इसके बाद हॉले ने उनसे दो टूक कहे और कहा, “न तो आपने कोई ऐक्शन लिया, न किसी को हटाया और न ही एक भी पीड़ित परिवार को मुआवजा दिया। अब यह बताइए कि आज यहां पीड़ितों के परिवार हैं, क्या आपने इन लोगों से माफी मांगी है?” इस पर मार्क जुकरबर्ग की जुबान सुनकर अटक सी गई और उन्होंने पीड़ित परिवारों से सीधे माफी मांगते हुए कुछ कहने लगे।
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यह घटना सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्मों की जिम्मेदारी और बच्चों की सुरक्षा के मुद्दे पर सामाजिक चर्चा को और तेज करती है, और इससे यह सिद्ध होता है कि इन कंपनियों को अपने सेवाओं और उपयोगकर्ताओं की सुरक्षा में और भी सकारात्मक रूप से कदम उठाने की जरूरत है।