बिहार सरकार ने हाल ही में धार्मिक जुलूसों और शोभा यात्राओं को लेकर एक महत्वपूर्ण फैसला लिया है। सरकार ने इस फैसले के तहत धार्मिक जुलूसों में तेज लाउड स्पीकर और डीजे बजाने की अनुमति नहीं देने का निर्णय लिया है। इसके साथ ही, जुलूस में तलवार, लाठी, बंदूक और अन्य हथियारों के प्रदर्शन पर रोक लगा दी गई है।

बिहार सरकार की विशेष सचिव सुहिता अनुपम ने जिलाधिकारियों और पुलिस अधीक्षकों को एक चिट्ठी लिखकर इस निर्णय की घोषणा की है। चिट्ठी में डीएम और एसपी को जुलूस निकालने से पूर्व लाइसेंस निर्गत करने का निर्देश दिया गया है।

चिट्ठी में यह भी कहा गया है कि धार्मिक जुलूसों के दौरान होने वाली हिंसा को रोकने के लिए आवाज ध्वनि सीमा के अंदर ही रखनी होगी और त्योहार के अवसर पर उत्तेजक, भड़काऊ गाने, नारेबाजी, और प्रतिबंधित हथियारों के प्रदर्शन पर पूरी रूकावट लगाई गई है।

इस निर्णय के बाद, धार्मिक जुलूसों में शामिल लोगों से कम से कम 10 से 25 लोगों की एक अंडरटेकिंग ली जाएगी ताकि जुलूस में कानून-व्यवस्था बनी रहे। उन लोगों का नाम, पता, और आधार कार्ड का नंबर भी लिया जाएगा।
इस निर्णय के माध्यम से सरकार ने त्योहारों पर होने वाले तनाव और अन्य घटनाओं पर नियंत्रण करने की कठिनाईयों को कम करने का प्रयास किया है और धार्मिक जुलूसों को विनियमित करने का प्रयास किया है।